नवरात्रि,दुर्गापूजा व दशहरा की आप सभी को हार्दिक व मंगल शुभकामनाएँ
शारदीय नवरात्र के आते ही मेरा मन प्रसन्न हो जाता है,और मेरे मन के अंदर छुपी हुयी इक चंचल लड़की मेरी ऊँगली पकड़ कर ले जाती है मुझे अपने अतीत में,जहाँ शुरुआत होती है दुर्गा पूजा व व्रत से.
पर बचपन में हमें ये सब कहाँ समझ आता था.....मन तो लगा रहता था की स्कूल की छुट्टी हो और हम अपने ननिहाल जायें और ये पूरा समय उल्लास,उमंग और बेफ़िक्री से दशहरा मनायें. तब "social media" हाथ में "smart phone" तो होता नहीं था. बहुत होता तो "tv" पे कोई कार्यक्रम देख लेते थे. इसीलिए पूरे साल इंतज़ार करते थे दशहरे का पूरा आनंद उठाने के लिये. जब भी अतीत की उन गलियों में जाती हूँ तो मन इक नए उत्साह से भर जाता है. इक तो हम अपने ननिहाल में "VIP" गेस्ट होते थे तो अलग ही मज़ा था. साथ ही वहाँ होने वाले कार्यक्रम जैसे रोज़ रात को राम लीला, दिन में दुर्गा पूजा, तरह तरह के पकवान, नए कपड़े रोज़ किसी न किसी के घर माता की चौकी के नाम पर गाना बजाना अंतिम दिन "भरत मिलाप " के बाद वो गाँव का मेला.....अहा...क्या आनंद आता था.हमारी इक पूरी टोली थी जिन्हें अब "cousins" कहते है पर तब तो वो सब चचेरे,ममेरे भाई बहन सखी,सखा सब कुछ हुआ करते थे.
मित्रों,यहाँ मैं बात कर रही हूँ "माता की चौकी" की या देसी भाषा में कहूँ तो स्त्रियों की टोली बना कर "देवी गीत"गाने की. जिसमें रोज़ किसी न किसी के घर जमघट लगता है,और आस -पास की औरतें जमा होती हैं और रोज़-रोज़ की चिक-चिक,झिक-झिक से निकल कर देवी की आराधना करने के लिए गाना, बजाना और नाच के आनंद का रस लेती हैं. पूजा,पाठ तो इसमें क्या ही होता है पर औरतों का मनोरंजन तो ख़ूब होता है. नित्य नये सुंदर कपड़े,"matching" चूड़ियाँ, ज़ेवर और मनभावन हार-सिंगार. इसी के साथ शुरू होती है पहले पूजा फिर ढोलक की थाप के साथ झूम के नृत्य संगीत का कार्यक्रम बीच बीच में हास परिहास भी चलता रहता है. ये नौ दिन औरतों की बहुत व्यस्त लेकिन प्रसन्न दिनचर्या रहती है.इस में सभी बढ़ चड़ कर हिस्सा लेती है सबमे इक अनकही होड़ सी होती है अपना नया गाना सुनने की सबकी डायरियाँ खुल जाती है और खोज होती है नए नए देवी गीतों की. सब की चाह होती है की वो नए सुर ताल के साथ नए राग का कोई मोहक भजन गा कर सबके आकर्षण का केन्द्र बन जाये.
इन पावन नौ दिनो को और भी भक्तिमय बनाने के लिए आप के सामने संझा भोर के माध्यम से ९ देवी गीतों की शृंखला प्रस्तुत करने का प्रयास है. आशा है मेरी तरह आप को भी अपने बचपन की नवरात्रि-दशहरा की छुटियाँ याद आएँगी. माता की चौकियों में गा कर ख़ूब वाह वाही भी लूट सकते हैं.
"प्रथम दिवस"- मैया मोरी
मैया मोरी अम्बे तुम ही लाज की रखैया,मैया मोरी अम्बे तुम ही लाज की रखैया,
मैया मोरी.
गईया माँगू,बछडू माँगू और माँगू दुहवैया,
एक अम्बे और माँगू,एक अम्बे और माँगू.
दूध के पीवैया,
मैया मोरी अम्बे.
शाला माँगू ,दुशाला माँगू और माँगू चुनरिया,
एक अम्बे और माँगू,एक अम्बे और माँगू,
चुनर के ओढ़वैया .
मैया मोरी अम्बे.
चूड़ियाँ माँगू,बिन्दिया माँगू और माँगू सिंदूरवा.
एक अम्बे और माँगू,एक अम्बे और माँगू,
रूप के देखवयिया.
मैया मोरी अम्बे.
बालक माँगू,साजन माँगू और माँगू
उमरिया,
एक अम्बे और माँगू,एक अम्बे और माँगू ,
सुहाग के रखैया.
मैया मोरी अम्बे.
मैया मोरी अम्बे तुम ही लाज की रखैया,
मैया मोरी.
"दिव्तिय दिवस"-माँ से मिलन
आज होगा माता रानी से मिलन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ.
बोलते चलो,बोलते चलो,
जयकारा माँ.
मैया रानी देंगी तुम्हें दर्शन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ.
बोलते चलो,बोलते चलो,
जयकारा माँ.
माँ साँची माँ का नाम है साँचा,
साँची माँ का धाम है साँचा,
साँचे मन से लगा के लगन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ.
बोलते चलो,बोलते चलो,
जयकारा माँ.
खुल गए भक्तों भाग्य हमारे,
माँ ने बुलाया अपने द्वारे,
आज होगा सफल जीवन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ.
बोलते चलो,बोलते चलो,
जयकारा माँ,
पूरी होगी सबकी मनौती,
आज जगेगी क़िस्मत सोती,
खोले बैठी भवानी,भवन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ,
बोलते चलो,बोलते चलो,
जयकारा माँ.
आज होगा माता रानी से मिलन,
जयकारा माँ का बोलते चलो,
जयकारा माँ.
बोलते चलो.
"तृतीयदिवस"-ताली बजा लेना
आज है जगराता माई का माँ को मना लेना,
अरे ऐ,भैया जी ज़रा ताली बजा लेना,
हाथ उठा के ज़ोर लगा,जयकारा लगा लेना,
अरे ऐ बहना जी,ज़रा ताली बजा लेना,
आज है जगराता माई.
अरे ऐ.
मिलेगा जो माँगोगे तुम,कोई नहीं शंका,
सारी दुनिया में बजता है माई का डंका,
माई के दर पे जोत जली है,मेरे मैया के दर पे जोत जली है,
शेरावाली के दर पे जोत जली है,
ज़रा सर को झुका लेना,
अरे ऐ,बहना जी ज़रा ताली बजा लेना,
अरे ऐ.
ये है मेहरां वाली मैया,सबको खिलाती है,
बिछड़े हुए सभी को मैया पल में मिलाती है,
माई के दर पे जोत.
मेरे माई के दर पे.
ज़रा सर को झुका लेना,
अरे ऐ,भैया जी ज़रा ताली बजा लेना,
अरे ऐ,बहना जी.
चिंतापूरनी मैया सबकी चिंता मिटाती है,
हारे हुए सभी को मैया बाज़ी जिताती है,
अरे आज सुनायें माँ की महिमा,
तू संग में गा लेना,
माई के दर पे जोत,
मेरे माई के दर पे,
ज़रा सर को झुका लेना,
अरे ऐ,भैया जी ज़रा ताली बजा लेना,
अरे ऐ,बहना जी.
हाथ उठा के ज़ोर लगा के जयकारा लगा लेना,
अरे ऐ,भैया जी ज़रा ताली बजा लेना,
अरे ऐ,बहना जी.
आज है जगराता मैया का,माँ को मना लेना,
अरे ऐ,भैया जी,
अरे ऐ,बहना जी,ज़रा ताली बजा लेना,
अरे ऐ,भैया जी.
अरे ऐ,बहना जी.
"चतुर्थ दिवस"-पवन धीरे चलो री
मोरी मैया की चुनर उड़ी जाए,
पवन धीरे धीरे चलो री,
धीरे चलो री पवन,धीरे चलो री,
मोरी मैया की.
पवन धीरे.
कैसे भवानी तोहे ध्वजा मैं चढ़ाऊँ,
कैसे भवानी.
ध्वजा मैं चढ़ाऊँ,ध्वजा मैं चढ़ाऊँ,
हो मैया,ध्वजा लहरिया खाये,
पवन धीरे धीरे चलो री,
ध्वजा लहरिया खाये,
पवन धीरे,
धीरे चलो री.
कैसे भवानी तोहे फुलवा चढ़ाऊँ,
कैसे भवानी.
फुलवा चढ़ाऊँ,मैं फुलवा चढ़ाऊँ,
फुलवा तो गिरि गिरी जाए,
पवन धीरे धीरे चलो री,
धीरे चलो री.
ओ मोरी मैया की चुनर उड़ी जाये,
पवन धीरे.
धीरे चलो री पवन धीरे चलो री,
मोरी मैया की चुनर उड़ी जाये,
पवन धीरे.
धीरे चलो री.
कैसे भवानी तोरी आरती उतारूँ,
कैसे भवानी आरती उतारूँ तोरी आरती उतारूँ,
ओ मैया,जोत ये बुझ बुझ जाये,
पवन ज़रा धीरे चलो री,
मैया जोत ये बुझ बुझ जाये,
पवन ज़रा धीरे चलो री,
पवन धीरे.
धीरे चलो री.
ओ मोरी मैया की चुनर उड़ी जाए,
पवन धीरे धीरे चलो री,
मोरी मैया.
पवन धीरे.
"पंचम दिवस"-पावँ पैजनिया
छुम छुम छननन बाजे,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम .
मैया पावँ.
छुम छुम .
कौन गढ़ाए मैया पावँ पैजनिया,
कौन उढावे चुनरिया,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम छननन बाजे,मैया पावँ पैजनिया ,
छुम छुम .
मैया पावँ.
सुनरा गढावे मैया पावँ पैजनिया,
दर्ज़ी ओढ़ावे,चुनरिया,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम छननन बाजे,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम .
मैया पावँ.
किसे चढ़ाऊँ मैया पावँ पैजनिया,
किसे ओढ़ाऊ ओढिनिया,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम छननन बाजे,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम .
मैया पावँ.
दुर्गे चढ़ाऊँ मैया पावँ पैजेनिया,
अम्बे ओढ़ाऊ ओढिनिया,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम छननन बाजे,मैया पावँ पैजनिया,
छुम छुम .
मैया पावँ.
Listen to this song: https://www.youtube.com/watch?v=IifUjmww7NQ
Listen to the song here: https://www.youtube.com/watch?v=UZAVTirS1HA&t=1270s
"षष्ठम् दिवस"-जगमग जगमग
जगमग जगमग जोत जलत है,
जोत में दुर्गा मैया झूला झुलत है,
सज रहे सोलह सिंगार हो,
ओ जननी,सज रहे सोलह सिंगार हो,
जगमग जगमग.
जोत में दुर्गा मैया.
सज रहे .
ओ जननी .
काहे के दियना काहे के बाती,
काहे के तेल में जले सारी राति,
माटी के दियना रुई के बाती,
घीया के जोत जले,माँ सारी राति,
लुक छिपी ,लुक छिपी मैया खेलत है,
छोटे छोटे पावँ में घुँघरू बजत है,
घुँघरू बजत है ,हाँ घुँघरू बजत हैं,
घुँघरू के होवे झनकार हो,
हो मैया,सज रहे सोलह सिंगार हो,
जगमग जगमग.
जोत में दुर्गा मैया.
सज रहे.
ओ जननी .
काहे के घुँघरू काहे के तार हो,
काहे के बाजे पखावज,देवी के द्वार हो,
सोने के घुँघरू,चाँदी के तार हो,
चंदन के बाजे पखावज,देवी के द्वार हो,
दमदम दमदम,मानर बजत हैं,
रुनक-झुनक मोरी मैया नचत हैं,
मोहत है सारा , संसार हो,
हो मैया,सज रहे सोलह सिंगार हो,
जगमग जगमग.
जोत में दुर्गा मैया.
सज रहे.
ओ जननी .
जगमग जगमग जोत जलत हैं,
जोत में दुर्गा मैया,झूला झुलत हैं,
सज रहे सोलह सिंगार हो,
हो मैया.
हो जननी सज रहे सोलह सिंगार हो.
"सप्तम दिवस"-नदी किनारे
नदी किनारे मैया का घाट,मैया का घाट,
कर रही सखियाँ पूजा पाठ ,
नदी किनारे.
कर रही सखियाँ.
अम्बे हो तुम महारानी हो तुम,दुर्गा हो तुम महाकाली हो तुम,
अम्बे हो तुम .
गौरी हो तुम,भवानी हो तुम,शक्ति हो तुम,बलशाली हो तुम.
जिसके सर पे रख दे तूँ हाथ,
उसके तो हो जायेंगे ठाठ,
नदी किनारे .
कर रही सखियाँ.
लाल चुनरिया,चोला है लाल,लाल माँ की बिंदिया का हीरा भी लाल,
लाल चुनरिया.
लाल लाल कलशे में ज्योति है लाल,
लाल लाल झंडे में गोटा है लाल,
हम भी ले आए पूजा का थाल,
खोलो पुजारी मंदिर का द्वार,
नदी किनारे .
कर रही सखियाँ.
हाँ नदी किनारे.
मैया भवानी है तारती,चलो सखी करें आरती,
मैया भवानी है .
संकट सारे मॉ टालती,नैया भँवर से उबारती,
भजन करू मैं दिन रात,भक्ति का मैया छूटे ना साथ.
नदी किनारे मैया का घाट,हाँ,मैया का घाट,
भवानी मैया की पूजा है आज,
भवानी मैया,
नदी किनारे मैया का घाट,मैया का घाट,
सखियाँ कर रही पूजा पाठ.
नदी किनारे.
सखियाँ कर रही.
"अष्टम दिवस"-रंगरेजिया
रंगरेजिया नौ रंग,रंग दे माँ की चुनरिया,
नौ चुनरी नौ रंग वाली,ओढ़ेगी माँ शेरावाली,
नौ भक्ति के रंग से रंग दे मेरे मन की गागरिया .
रंगरेजिया नौ रंग दे.
रंग दे माँ की चुनरिया,रंग दे माँ की चुनरिया.
पहली चुनर का रंग हो लाल,सुनो कथा भक्ति की विशाल,
दूजी चुनरी हरी हरी,सुन लो कीर्तन करे कमाल.
पहली चुनर.
याद करूँ तो पीली ओढा के,मोहे बना दे बावरिया.
रंगरेजिया नौ रंग दे.
रंग दे माँ.
माँ सेवा में मन जो रचे,चुनरी माँ को श्वेत जँचे,
माँ सेवा में.
रंग जामुनी अरचन में,वन्दना में गुलाबी सजे.
काली चुनरिया दास ओढ़ावे,नाचे छम छम जोगनिया.
रंगरेजिया नौ रंग दे.
रंग दे माँ.
भक्ति रंग है सबको चढ़ी,बैगनि हो तारों जड़ी,
भक्ति रंग है.
नारंगी रंग हो चुनरी,प्रार्थना से रहूँ मैं जुड़ी,
नौ दिन,नौ रंग,नौ भक्ति के सहारे,
नौ दिन,माँ दुर्गा की आरती उतारें.
रंगरेजिया नौ रंग,रंग दे माँ की चुनरिया.
रंग दे माँ की चुनरिया.
रंगरेजिया रंग दे.
Listen to this song here: https://www.youtube.com/watch?v=UZAVTirS1HA&t=1284s
"नवमी"-कंगना करे शोर
कंगना खनक करे शोर,गढावे कौन मैया बता दे,
मैया बता दे,मेरी मैया बता दे,
कंगना खनक.
गढावे कौन.
ऐसो में कंगना क्या ब्रह्मा जी लाये,मैया शारदा खनक सुर जमाये.
ऐसो कंगना .
वेद सूनावे चारों ओर .
गढावे कौन मैया बता दे.
कंगना खनक.
गढावे कौन.
ऐसो में कंगना क्या विष्णु जी लाए,
लक्ष्मी मैया हीरा जड़ाए.
ऐसो कंगना.
झिलमिल चमक हिलोल,झिलमिल चमक हिलोल.
गढावे कौन मैया बता दे.
कंगना खनक.
गढावे कौन.
ऐसो में कंगना क्या शंकर जी लाए,
भंगिया का रंग कैसा इसमें चड़ाये,
ऐसो कंगना.
नंदी नाचे,नाचे मोर,नंदि नाचे,नाचे मोर.
गढावे कौन मैया बता दे.
कंगना खनक.
गढावे कौन.
मैया कहें,कंगना भक्त ले आए,श्रद्धा,भक्ति,मनोहर जड़ाए.
मैया को मनायें, कर ज़ोर,हो मैया को मनायें कर ज़ोर.
मैया कहें.
कंगना खनक करे शोर,गढावे कौन मैया बता दे.
मैया बता दे,मैया बता दे.
कंगना खनक.
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